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पूछे जाने वाले प्रश्न

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प्रश्न
क्या पीआईओ/ओसीआई स्थिति वाले विदेशी , कैलाश मानसरोवर यात्रा में भाग लेने के पात्र हैं?
उत्तर कोई भी भारतीय नागरिक जिसके पास वैध भारतीय पासपोर्ट है और वर्ष के 01 जनवरी को न्यूनतम 18 वर्ष और अधिकतम 70 साल का हो, वह यात्रा के लिए आवेदन करने का पात्र है। वैसे लोग जो विदेशी नागिरकता धारक हैं, वे पात्र नहीं है। इसलिए , पीआईओ/ओआईसी कार्ट धारक पात्र नहीं है।
प्रश्न
इसी प्रकार की यात्रा अन्य निजी एजेंससयों द्वारा आयोजित की जाती हैं, जो केवल 14 दिनों में पूरी हो जाती हैं। भारत सरकार द्वारा आयोजित और निजी एजेंससयों द्वारा आयोजित यात्राओं के बीच क्या अंतर है?
उत्तर कैलाश मानसरोवर यात्रा को किसी भी निजी संस्था द्वारा लिपुलेख दर्रा (उत्तराखंड) और नाथुला (सिक्किम) से आयोजित नहीं किया जाता है, इसलिए यह तुलनात्मक नहीं है। इन मार्गो पर यात्री सुंदर और सम्मोहित करने वाले सौन्दर्य के साथ कई पयटर्क और धार्मिक स्थलों, पवर्त चोटियों के शानदार दर्श्य, उत्तराखंड के कुमाऊं क्षेत्र और सिक्किम के अद्ववतीय वनस्पनतयों के शानदार अनुभव का आनंद लेते हुए यात्रा करते हैं। यह यात्रा अपने यात्रिओ को पर्याप्त समय देता है कि वे रास्ते में आने वाली विपरीत परिस्तिथियों के अनुकूल अपने-आपको धीरे-धीरे ढाल लें, क्योंकि ऊँचाईयों पर तेजी से आगे बढ़ने से उच्च ऊंचाई पर होने वाली गंभीर बीमारी हो सकती है, जो जानलेवा भी साबित हो सकती है। इसके अलावा यात्रिओ को विभिन औपचाररकताओं को पूरा करने के लिए नई दिल्ली में तीन-चार दिन बिताने की जरूरत पड़ती है। चयनित मार्ग के अनुसार सम्पूर्ट यात्रा लगभग 23-25 दिनों में सम्पन्न हो जाती है।
प्रश्न
क्या कैलाश मानसरोवर तीर्थ यात्रिओ को कोई आर्थिक सहायता दी जाती है?
उत्तर नहीं। कुछ राज्य सरकार यात्रा खर्च को सिमीत करने के लिए अपने निवासियों को भिन्न -भिन्न आर्थिक सहायता प्रदान करते हैं।
प्रश्न
यदि पति/पत्नी भी साथ में यात्रा करने के इच्छुक है,तो क्या कम्प्यूटरीकृत ड्रॉ के माध्यम से उसका चयन भी स्वतः ही हो जाएगा?
उत्तर कम्प्यूटरीकृत ड्रॉ में शामिल होने के लिए दोनों आवेदकों के ऑनलाइन आवेदन पूर्ण होने चाहिए अन्यथा इसे अपूर्ण आवेदन माना जाएगा और अस्वीकार कर दिया जाएगा।
प्रश्न
क्या भारत के विदेशी मिशनों में तैनात अधिकारी संपर्क अधिकारी के तौर पर नियुक्त किये जाने के पात्र हैं? यदि संपर्क अधिकारी के तौर पर चुने जाने के पश्चात अधिकारी को विदेश जाना है तो, क्या वे इसके बाद भी संपर्क अधिकारी के तौर पर काम करते रहेंगे ?
उत्तर विदेश स्थित भारतीय मिशनों /केंद्रों में तैनात सदस्यों का संपर्क अधिकारी के तौर पर चुना जाना प्रतिबंदित नहीं है। किसी भी अधिकारी के संपर्क अधिकारी के चयन के साक्षात्कार हेतु नाम पर विचार किये जाने से पूर्व सम्बंदित मंत्रायलय / विभाग की प्रशासनिक मंजूरी आवश्यक है । संपर्क अधिकारी के तौर पर चयन क पश्चात विदेशी हस्तांतरण पर बहार जाने की संभावना में चुने गए संपर्क रअधिकारी को अपनी ड्यूटी शुरू करने से पहले मिशन-प्रमुख तथा मंत्रायलय से अतिरिक्त अनापत्ति प्राप्त करने की आवश्यकता होगी ।
प्रश्न
क्या यात्रा के दौरान खान-पान तथा रहने की व्यवस्था की जाती है? प्रति यात्री अनुमातनि लगत क्या है?
उत्तर भारत की और से परिवहन , संचार-तंत्र तथा खान-पान की व्यवस्था KMVN और STDC द्वारा की जाती है। तिब्बत में परिवहन तथा संचार की व्यवस्था चीनी प्राधिकारियों द्वारा की जाती है। प्रति यात्री अनुमानित व्यय के लिए कृपया हमारी वेबसाइट पे " यात्रियों हेतु शुल्क एवं व्यय " भाग में देख सकते है ।
प्रश्न
यदि किसी व्यक्ति का बॉडी मास इंडेक्स (बीएमआई) 25 से अधिक है, तो क्या उसे चिकित्सा जांच मे अस्वीकृत कर दिया जायगा ?
उत्तर यात्रा के लिए फिटनेस , किसी भी व्यक्ति के स्वास्थय के अन्य कारकों पर निर्भर करेगा। यदि व्यक्ति को व्यापक चिकित्सा जांच के पश्चात फिट एवं स्वस्थ पाया जाता है तो डाक्टरों को उनके बीएमआई के विषय में अत्यधिक सख्त नहीं होना चाहिए । इसके बावजूद , बीच के समय में उन्हें अपना बीएमआई (BMI) 25 अथवा इससे कम करने का प्रयास करना चाहिए , जिससे उनके सम्पूर्ण फिटनेस में सुधार आ सके।
प्रश्न
यात्रियों को दिल्ली हार्ट एंड लंग इंस्टिट्यूट तथा आईटीबीपी बेस अस्पताल से ही चिकित्सा जाँच करवाने तथा उसमें योग्य होना अनिवार्य क्यों हैं ।
उत्तर यात्रियों को 19,500 तक की ऊंचाई वाले क्षेत्र से पर्वतारोहण (ट्रैकिंग) करना पड़ता है। ऐसे स्थानों पर ऑक्ससीजन कम होती है और वातावरण में हवा का दबाव कम रहता है तथा इसके लोग हाइपोक्सिया (हवा में आकसीजन की कमी) से प्रभावित होते है। बहुत ही कम लोगों में पलमोनरी एडमोनरी एडेमा /सेरेब्रल एडेमा तता अतयधिक माउंटेन सिकनेस इत्यादि की बीमारी से लोग ग्रसित हो जाते हैं। जिन्हें पहले से ही कोरोनरी आर्टरी, विभिन्न फेपड़ों की बीमारी जैसे की ब्रोन्कियल अस्थमा, उच्च रकत चाप तथा डयबिटीज की बीमारी है वे बेहोश हो सकते हैं तथा जीवन के लिए हानिकारक हो सकता है। इसलिए अत्यर्धक ऊंचाई वाले स्थानों की यात्रा करने से पूर्व यात्रियों की पूर्व जांच की जाती है।
प्रश्न
क्या दिल्ली हार्ट लंग संसथान तथा आईटीबीपी बेस अस्पताल में चिकित्सा जांच कराने से यात्रियों के पलमोनरी ओडेमा, इत्यादि जैसी बीमारी से बचाव की गारंटी मिल जाती है ?
उत्तर नहीं। चिकित्सय परिक्षण केवल फिटनेस का निर्धारण करने के लिए हैं। कोई भी यात्री अतयधिक ऊंचाई वाली बीमारी से ग्रसित हो सकते हैं यदि वे उच्च पर्वतारोहण (ट्रैकिंग) के लिए सुझाए गई प्रकिया का अनुसरण नहीं करते हैं।
प्रश्न
क्या यात्रियों के लिए कोई आयु सीमा निर्धारित है ?
उत्तर यह सुझाव दिया जाता है कि 70 वर्ष से अधिक की उम्र के किसी भी व्यक्ति को बहुत अधिक ऊंचाई पर नहीं भेजा जाना चाहिए क्योंकि सामान्यतः इस उम्र में ऐसी परिस्थिति में अपने-आपको ढालना तथा तनाव से जूझना मुश्किल होता है। यह भी देखा जाता है कि19-30 आयुवर्ग के युवा अर्धक उम्र की तुलना में उच्च
प्रश्न
कम उम्र के यात्री एच.ए.पी.ई. (HAPE- High Altitude Pulmonary Edema) के शिकार ज्यादा क्यों होते हैं ?
उत्तर सटीक कारन का पता नहीं है। ऐसा माना जाता है कि कम उम्र के यात्री अकारण दिखावे के चककर में मौसमी अनुकूलन से सम्बंधित नियमों का पालन नहीं करते हैं।
प्रश्न
यदि कोई यात्री पहले उच्च पवरतारोहण (ट्रैकिंग) के लिए गया और घटनारहित रहा तो क्या उसे फिर भी चिकित्सय परीक्षण में योग्य होना अनिवार्य है?
उत्तर चिकित्सय परीक्षण के लिए महत्वपूर्ण कारन यह है कि पहली बार जा रहे लोगों की तुलना में दूसरी या तीसरी बार जा रहे लोगों में ऊंचाई पर होने वाली बीमाररयों से ग्रस्त होने का ज्यादा खतरा होता है।
प्रश्न
कोई व्यक्ति एक योग्य यात्री कैसे बन सकता है?
उत्तर यात्री सभी बड़ी बीमारियां जैसे हृदय रोग, अस्थमा, मिर्गी , मधुमेह, उच्च रकतचाप, मेन्सुरल डिसऑर्डर, केंसर आदि से मुक्त होना चाहिए । यात्रियों को सलाह दी जाती है कि अपने वज़न को सामान्य स्तर पर लाएं,नियमित व्यायाम करें, खास व्यायाम करें तथा तंबाकू, शराब आदि का सेवन बंद कर दें। इच्छुक यात्री को यदि कोई बड़ी बीमारी है तो डॉक्टर से संपर्क किया जा सकता है।
प्रश्न
क्या चिकित्सा जांच केवल दिल्ली हार्ट एंड लंग इंस्टिट्यूट तथा आईटीबीपी बेस अस्पताल , नई दिल्ली में कराई जाती है या यात्रा के दौरान भी कोई चिकित्सा जांच की जाती है?
उत्तर लिपुलेख मार्ग पर गुंजी में (3,220 मीटर की ऊंचाई) तथा नाथुला मार्ग पर शेराथांग (4115 मीटर की ऊंचाई) में दूसरी चिकित्सा जांच करवानी होती है, ताकि ऊंचाई पर शरीर की प्रतिक्रिया का आकलन किया जा सके। यहाँ स्वस्थ पाए गए यात्रियों को ही आगे की यात्रा करने की अनुमति दी जाएगी।
प्रश्न
यदि कोई यात्री रास्ते में बीमार हो जाए तो क्या होगा?
उत्तर यदि यात्री कोई छोटी बीमारी से ग्रसित हो तो सहायता प्रदान करने के लिए भारत में मेडिकल और पेरामेडिकल स्टाफ मौजूद है। आईटीबीपी अच्छी तरह से सुसज्जित है तथा उनके पास हेपो (HAPO) बैग है जिसके अंदर का दबाव समुद्र स्तर से अधिक या उसके बराबर हो सकता है। परंतु यदि कोई यात्री किसी मुख्य स्वास्थय समस्या से ग्रस्त है, तो उन्हें उनकी स्वयं की लागत पर हेलीकाप्टर द्वारा अस्पताल पहुंचाने की आवश्यता होगी। अधिक ऊंचाई पर हेलीकाप्टर द्वारा पलायन अपुर्वानुमानिये मौसम की स्थिति पर निर्भर करता है। चीनी क्षेत्र में, खराब मौसम, भौगोललक परिस्तिथियों और प्रशासनिक प्रकिया के कारण , इस प्रकार की सहायता में समय लग सकता है। इसलिए , यात्री को यात्रा शुरू करने से पूर्व यह सुनिश्चित कर लेना चाहिए कि उन्हें अपने स्वास्थय और शारीररक योग्यता पर सही मायने में पूरा भरोसा है।
प्रश्न
क्या यात्रियों को अपने डॉक्टर की सलाह पर नियमित रूप से ले रहे निर्धारित दवाईयों को साथ ले जाना चाहिए ?
उत्तर हां। यात्रियों को सलाह दी जाती है कि वह अपने साथ उचित मात्रा में दवाईयां रखें जो पूरी यात्रा के लिए पर्याप्त हो। वह इस मामले पर आईटीबीपी के डॉक्टरों से भी चर्चा कर सकते हैं।
प्रश्न
क्या यात्रियों को गुंजी और नई दिल्ली स्थिति आईटीबीपी के बेस अस्पतालों में चिकित्सय जांच के लिए भुगतान करने की आवश्यकता है?
उत्तर नहीं। एक शिष्टाचार के रूप में, आईटीबीपी द्वारा ये जांच निःशुल्क की जाती है।
प्रश्न
कुमाउ मंडल विकास निगम लिमिटेड / सिक्किम सरकार यात्रियों से 5000/- रुपए की अप्रतिदेय राशि का दावा क्यों कर रही है?
उत्तर कुमाउ मंडल विकास निगम लिमिटेड / सिक्किम सरकार यात्रियों को भारत क्षेत्र में यात्रा के लिए सभी प्रकार की सहायता प्रदान करती है। वे समय पूर्व ही, निर्धारित शुल्क के भुगतान पर खाद्य सामग्री, रहना,सुरक्षा, चिकित्सय सहायता, परिवहन , गाइड , कुली आदि की व्यवस्था करते हैं। फलस्वरूप, यदि कोई व्यक्ति अंतत: यात्रा नहीं करता, उसके व्यय की प्रतिपूर्ति नहीं की जा सकती।
प्रश्न
क्या अन्य सरकारी तथा निजी अस्पतालों की चिकित्सा रिपोर्ट यात्रा के लिए स्वीकृत है?
उत्तर कैलाश मानसरोवर की यात्रा बहुत कठिन और शारीरिक रूप से चुनौतीपूर्ण है। यात्रियों को दुर्गम परिस्थितियों में 19,500 फ़ीट तक की सीधी ऊंचाई से गुजरना होता है। इसमें लोगों की जान का खतरा भी होता है। यात्रा की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए, अन्य अस्पतालों की रिपोर्ट स्वीकृत नहीं है क्योंकि कैलाश मानसरोवर यात्रा की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए यात्रियों को नई दिल्ली स्थिति दिल्ली हार्ट एंड लंग इंस्टिट्यूट और आईटीबीपी बेस अस्पताल द्वारा आयोजित चिकित्सा जांच से गुजरना पड़ता है, और उसमें योग्य पाया जाना जरूरी है। इसलिए , अन्य अस्पतालों की रिपोर्ट स्वीकृत नहीं है क्योंकि कैलाश मानसरोवर यात्रा की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए सबसे अच्छी गुणवत्ता के अनुरूप एक सामान्य चिकित्सा जांच से गुजरना पड़ता है, जिससे कि यात्रियों की सलामती और सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।
प्रश्न
यदि किसी यात्री को चिकित्सक मेडिकल दौर में खारिज कर दिया गया है, तो क्या उसे चिकित्सा स्थितियों से वसूली पर बाद के बैच के लिए विचार किया जा सकता है?
उत्तर नहीं। कैलाश-मानसरोवर क्षेत्र में मार्ग पर कोई मेडिकल सुविधाएं नहीं हैं और तत्काल विशेष चिकित्सा उपचार के लिए एक व्यक्ति को हवाई जहाज़ में ले जाना मुश्किल है। इसलिए, सावधानी और विवेक के एक उपाय के रूप में, यदि एक चिकित्सक को एक बार चिकित्सकीय रूप से अयोग्य घोषित किया जाता है, तो उसे सलाह दी जाती है कि वह उस वर्ष के दौरान यात्रा में अपने हित में भाग न ले।
प्रश्न
क्या गैर-सरकारी संगठनों और स्वयंसेवी संगठनों की विदेश मंत्रालय द्वारा आयोजित कैलाश मानसरोवर यात्रा में कोई भूमिका होती है?
उत्तर गैर सरकारी संगठनों और स्वयंसेवी संगठनों को किसी भी समाज में एक महत्वपूर्ण भमिका निभाने के लिए जाना जाता है। कुछ गैर-सरकारी संगठनों को उपकरण या खाद्य वस्तुओं आदि के रूप में सामग्री सहायता प्रदान करने के लिए जाना जाता है। कैलाश मानसरोवर यात्रा से सम्बंदित कार्य के लिए विदेश मंत्रालय किसी भी गैर-सरकारी संगठनों या स्वैजच्छक संगठन को नियुक्त या अधिकृत नहीं करता है।
प्रश्न
यात्री के चयन के लिए मानक कारक क्या है?
उत्तर कृपया वेबपेज "चयन प्रक्रिया" में दी गई जानकारी और "मेडिकल टेस्ट" को पढ़ें।
प्रश्न
नाथुला मार्ग में कितना भाग ट्रैकिंग है?
उत्तर नाथुला एक मोटर योग्य मार्ग है जिसमे अपेक्षाकृत बहुत कम लगभग 35 किलोमीटर की ही ट्रैकिंग शामिल है।
प्रश्न
क्या इस यात्रा में शामिल ट्रैकिंग ही कैलाश पर्वत परिक्रमा का एकमात्र तरीका है अथवा , इस सम्पूर्ण यात्रा के दौरान कोई अतिरिक्त ट्रैकिंग शामिल है?
उत्तर सम्पूर्ण कैलाश मानसरोवर यात्रा के दौरान लिपुलेख मार्ग पर लगभग 200 क़ि .मी. तथा नाथुला मार्ग पर लगभग 36 क़ि.मी. की ट्रैकिंग शामिल है । विवरण के लिए कृपया वेबसाइट पर यात्रा कार्यक्रम देखें।
प्रश्न
जैसा क़ि नाथूला एक मोटर योग्य रास्ता है , क्या 70 वर्ष से अधिक के व्यक्ति को यात्रा पर जाने की अनुमति है, जो चिकित्सय रूप से योग्य हैं?
उत्तर नहीं। ऐसी सलाह दी जाती है क़ि 70 वर्ष से अधिक के व्यक्ति को इतनी ऊंचाई पर जाने के लिए शामिल नहीं करना चाहिए कयोंक सामान्य रूप से, इतनी अधिक आयु के व्यक्ति इस तनाव और जलवायु का ठीक से सामना नहीं कर सकते।
प्रश्न
जो व्यक्ति सिक्किम में रह रहा है, क्या उसे गंगटोक से यात्रा प्रारंभ करने की अनुमति है?
उत्तर नहीं। सभी यात्रियों को नई दिल्ली स्थित आईटीबीपी बेस अस्पताल और दिल्ली हार्ट एंड लंग इंस्टिट्यूट से अनिवार्य चिकित्सा जांच से गुजरना पड़ता है तथा नई दिल्ली में वीज़ा की सभी औपचाररकताओं को पूरा करना होता है।
प्रश्न
क्या भारत में किसी भी संस्था को जमा की गई कोई भी राशि प्रतिदेय है?
उत्तर पुष्टिकृत यात्री द्वारा भुगतान की गई कोई भी राशि अप्रतिदेय है। “यात्री के लिए फीस और खर्च ” में वर्णित प्रारंभिक भुगतान राशि , चयनित यात्री की भागीदारी की पुष्टि हेतु है। भुगतान की पुष्टि के बाद ही संबंधित संस्था KMVN या STDC यात्रा से पूर्व ही यात्रियों की व्यवस्था के लिए वित्तीय खर्च वहन करती है।यात्रा से पूर्व या यात्रा के दौरान किसी भी स्तर पर की गई भुगतान रालश अप्रतिदेय है।
प्रश्न
क्या यात्रियों को यात्रा कार्यक्रमों में नहीं जाने वाले स्थानों पर जाने की इजाजत है?
उत्तर यात्रा कार्यक्रम में नहीं होने वाले स्थानों का दौरा करने की अनुमति नहीं है, क्योंकि सुरक्षा के कारण, निर्धारित समय और पूरे बैच के सामान्य हित में विचलन की अनुमति नहीं है।
प्रश्न
क्या यात्रा के दौरान अनुसरण किए जाने वाले नियमों तथा तौर-तरीकों का उल्लंघन करने वाले किसी यात्री के खिलाफ कार्रवाई की जाती है?
उत्तर यह उम्मीद की जाती है कि प्रत्येक यात्री यात्रा के दौरान अनुपालन किए जाने वाले नियमों तथा तौर-तरीकों का अनुसरण करें। यात्रियों से उम्मीद की जाती है कि वे जिम्मेदारीपूर्ण व्यवहार करें ताकि न केवल वे स्वयं किसी खतरे से बचे रहें बल्कि यात्रा के दौरान सह-यात्रियों की भी सुरक्षा तथा संरक्षा सुनिश्चित हो सके। उन्हें विदेश मंत्रालय द्वारा निर्धारित सुरक्षा संबंधी सावधानियों को सर्वोच्च प्राथमिकता देनी चाहिए और साथ ही संपर्क अधिकारी तथा अन्य सरकारी प्राधिकारियों, जो यात्रा के सुचारू संचालन के लिए जिम्मेदार होते हैं, द्वारा जारी निर्देशों का भी अनुसरण करना चाहिए। किसी भी प्रकार के अनुशासन की अवहेलना करने जिससे सह-यात्रियों की सुरक्षा को खतरा पैदा हो, निर्धारित यात्रा मार्ग से जानबूझकर इधर-उधर भटकने, ‘यात्रियों हेतु मार्गदर्शिका’ में निर्धारित अनुदेशों का उल्लंघन करने, और संपर्क अधिकारी अथवा स्थानीय प्राधिकारियों द्वारा जारी निर्देशों/परामर्शी का जानबूझकर उल्लंघन करने वाले यात्री विदेश मंत्रालय में गठित अनुशासन समिति द्वारा निर्धारित दंड के भागी होंगे।
प्रश्न
इस प्रकार के गैर-जिम्मेदारपूर्ण व्यवहार के मामले में संभावित परिणाम क्या हैं?
उत्तर गैर-जिम्मेदारीपूर्ण व्यवहार की गंभीरता के आधार पर दिए जाने वाले दंडों में से चेतावनी जैसे सामान्य दंड से लेकर यात्रा पूर्णता प्रमाणपत्र जारी न करने तथा सभी भावी यात्राओं के लिए उन्हें ब्लैक लिस्ट में डालने जैसे दंड शामिल हो सकते हैं। ऐसे मामलों में जहाँ यात्री घोर अनुशासनहीनता में लिप्त होते हैं और सह-यात्रियों अथवा साथ जाने वाले सरकारी अधिकारियों को शारीरिक क्षति पहुँचाते हैं, स्थानीय प्राधिकारियों द्वारा उनके विरुद्ध उचित समुचित कार्रवाई की जा सकती है और पुलिस में शिकायत दर्ज कराके कानूनी प्रक्रिया के अनुसार अभियोग चलाया जा सकता है।यात्रीगण यह नोट करें कि कैलाश मानसरोवर यात्रा एक कठिन यात्रा है। मौसम के कारण तथा अन्य प्राकृतिक कारणों से अप्रत्याशित विलंब हो सकता है। ऐसी परिस्थितियों में यह आवश्यक है कि वे स्थानीय अधिकारियों की सलाह को मानें। प्रतिकूल मौसम में यात्रा को जारी रखने के लिए स्थानीय अधिकारियों तथा संपर्क अधिकारियों को धमकाने अथवा सह-यात्रियों को हड़ताल करने, भूख हड़ताल पर जाने के लिए उकसाने, अधिकारियों को प्रतिकूल मौसम में यात्रा को जारी रखने के लिए बाहर से दबाव डलवाना और शारीरिक क्षति पहुँचाने जैसी हरकतें एक गंभीर संज्ञेय अपराध है और इसके कारण कानूनी कार्रवाई की जा सकती है।अतः यात्रियों को सलाह दी जाती है कि वे नियमों तथा तौर-तरीकों का कड़ाई से अनुपालन करें और वे एक-दूसरे के साथ और संपर्क अधिकारी एवं स्थानीय प्राधिकारियों के साथ भी सहयोग करें ताकि उनके जत्थे के लिए यात्रा का सुचारू संचालन किया जा सके।
प्रश्न
यात्रियों को साजो-सामान उपलब्ध कराने के लिए कौन-सी एजेंसी जिम्मेदार है?
उत्तर लिपुलेख मार्ग पर साजो-सामान उपलब्ध कराने के लिए कुमाऊँ मंडल विकास निगम जिम्मेदार है जबकि नाथू-ला मार्ग पर ये सुविधाएं उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी सिक्किम पर्यटन विकास निगम (एसटीडीसी) की है। ये एजेंसियां भारत की ओर सुविधाएं प्रदान करने के लिए उत्तरदायी हैं। लॉजिस्टिक सुविधाओं में,अन्य बातों के साथ,यात्रियों के साथ समन्वय करना, प्रतीक्षा सूची में उनकी स्थिति के आधार पर यात्रियों को पुष्टि भेजना, यात्रियों द्रारा टेलीफोन पर पूछे गए सवालों का जवाब देना, ऑनलाइन यात्री आवेदन विवरणों की जांच करना और उनमें सुधार करना आदि शामिल हैं।
प्रश्न
लॉजिस्टिक सेवा प्रदाताओं को भुगतान कैसे किया जाता है?
उत्तर यात्रियों को उपरोक्त सुविधाओं का भुगतान सीधे सेवा प्रदाताओं यानी केएमवीएन या एसटीडीसी को करना होता है। विदेश मंत्रालय यात्रियों से किसी शुल्क/भुगतान की मांग नहीं करता है और न ही ऐसा भुगतान प्राप्त करता है।
प्रश्न
यदि कोई यात्री यात्रा करने में असमर्थ है तो क्या यात्रा शुल्क वापस कर दिया जाता है? शुल्क वापस करने की प्रक्रिया क्या है?
उत्तर यदि किसी भी बैच में यात्री की पुष्टि हो जाती है तो प्रतीक्षा-सूचीबद्ध यात्री से प्राप्त 5000 / - रूपये की पुष्टि राशि अप्रितदेय है, हालांकि, यदि किसी भी बैच में प्रतीक्षा-सूचीबद्ध यात्री की पुष्टि नहीं हो पाती है, तो शुल्क वापसी अनुमत्य है। पुष्टि न किए गए प्रतीक्षा-सूची वाले जिन यात्रियों की पुष्टि नहीं हो पाती उनके शुल्क वापसी संबंधी अनुरोध पर सभी बैचों द्वारा यात्रा पूरी करने के बाद ही कार्रवाई की जाती है।यह ध्यान दिया जाए कि विदेश मंत्रालय किसी भी यात्री से कोई शुल्क आदि प्राप्त नहीं करता है और इसलिए यह यात्रियों को शुल्क-वापसी नहीं करता है या इस तरह के भुगतान या प्रतिदाय खाते नहीं रखता है।शुल्क वापसी की स्थिति से संबंधित पूछताछ के लिए यात्री सीधे केएमवीएन या एसटीडीसी से संपर्क कर सकते हैं। केएमवीएन और एसटीडीसी के संपर्क विवरण 'यात्री सूचना गाइड' में दिए गए हैं। इन सबके बावजूद, भुगतान या प्रतिदाय से संबंधित विदेश मंत्रालय में प्राप्त किसी भी संदेश को संबंधित सेवा प्रदाता (केएमवीएन/एसटीडीसी) को अग्रेषित किया जाता है। विदेश मंत्रालय भुगतान या शुल्क वापसी संबंधी कार्रवाई में कोई और सहायता प्रदान नहीं करता है।
प्रश्न
क्या चिकित्सा जांच के लिए किसी भी आवेदक द्वारा किया गया व्यय किसी भी मामले में वापसी योग्य है, यदि वे चयनित होने के बावजूद यात्रा करने में असमर्थ हैं?
उत्तर आवेदकों द्वारा स्वयं की चिकित्सा जांच के लिए किया गया व्यय अप्रतिदेय है, भले ही वे वास्तव में यात्रा करें या नहीं।